Veer Nirvan Kalyanak Stuti

Veer Nirvan Kalyanak Stuti

भवचक्र नो अंतिम दिवस

आयुष्य नी अंतिम घड़ी

शिवनगर मा पहुँचाड नारी

पल हवे छे आखरी


जाणे बुझायो दीवडो ने

ज्योति मा ज्योति भली

संसार मा अंधकार छायो

सिद्धशिला झलहली

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