Jain Stavan Lyrics Charno Me Tere Reh Kar
( राग : जाने वो कैसे लोग थे - गझल )
चरणों में तेरे रहकर भगवन् , प्यार ही प्यार मिला ,
श्रद्धा से जब पूजा मैंने , ब्रह्म का ज्ञान मिला . . .
तुज संग कैसी प्रीत लगी कि , छूटा जग मुज से ,
जादु तुने असा किया कि , छूटा जग मुज से ,
बंधन सारे तूट गये जब , तूने बांध लिया . . . चरणों में . . . 1
गुजर गया हर पल दुःख का , जब तेरा ध्यान किया ,
हर मुश्किल आसान हई जब तुने साथ दिया ,
मोह माया में फसा हुआ में, अब आझाद हुआ . . . चरणों में . . . 2
जीना मरना सिखा भगवन् , जग में जीकर के ,
जीतेजी मर जाना कैसा , सीखा अब तुज से ,
तु ही है अब माजी मेरा , नैया पार लगा . . . चरणों में . . . 3
जहर भी पीना कह दे अगर तु , वो भी पीलेंगे ,
राजी जिसमें तु है भगवन् , ऐसे जी लेंगे ,
बिन पिये मदहोश हुआ मैं , कैसा जाम पीया . . . चरणों में . . . 4
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