Kevu Dhany Jivan Jive Che Muniray Lyrics- केवुं धन्य जीवन जीवे छे

Kevu Dhany Jivan Jive Che Muniray Lyrics

केवुं धन्य जीवन जीवे छे मुनिराय दीक्षा गीत 


( तर्ज : श्याम तेरी बंसी पुकारे राधा नाम . . . ) 
केवुं धन्य जीवन ( 2 ) , जीवे छे मुनिराय ( 2 ) , 
निरखु ने आँखोमां , अमृत छलकाय ( 2 ) , 
दुःख दे ना कोईने , सहन करे छतांय ( 2 ) , 
मुखड़ा पर समता ने , शांति सदाय ( 2 ) . . . निरखुं ने . . . 1 

पोताना माटे , बनावेलुं भोजन ( 2 ) , 
सामेथी क्यांकथी , लावेलुं भोजन ( 2 ) , 
मुनि ना ले ( 2 ) , लेश ना समाधि नंदवाय . . . निरखुं ने . . . 2 

जरुरत विचारे , पसंदगी न राखे ( 2 ) , 
शोधे निर्दोष जिन , वचनोनी साखे ( 2 ) , 
धैर्य एनुं ( 2 ) अवुं के मेरु शरमाय . . . निरखुं ने . . . 3 

जो मळशे तो करशुं , संयमनी पुष्टि ( 2 ) , 
मळशे ना तो धरशुं , मनथी संतुष्टि ( 2 ) , 
मुनिवरना ( 2 ) भावोनी , शी वात थाय . . . निरखूं ने . . . 4 

निर्दोष भिक्षा जे , लावे तन तोड़ीने ( 2 ) , 
वापरे मुनीश्वर ते , राग द्वेष छोड़ीने ( 2 ) , 
प्रणमुं हुं ( 2 ) भाव धरी , मुनिजनना पाय . . . निरखुं ने . . . 5 

पू. पं. श्री मोक्षरति वि. म. सा. 
( श्री रामचंद्रसूटिजी समुदाय )

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